कांकेर Nov 01, 2018
शासन द्वारा समर्थन मूल्य पर धान खरीदी 1 नवंबर से शुरू की जा रही है, लेकिन इसकी तैयारी अब तक पूरी नहीं हो पाई है। कई केंद्रों में पर्याप्त बारदाने भी नहीं पहुंचे हैं, तो कहीं गोदाम के लिए कम जगह है।
शासन द्वारा समर्थन मूल्य पर 1 नवंबर से 31 जनवरी तक धान खरीदी की जाएगी। इस वर्ष 62,554 किसान खरीदी केंद्रों में धान की बिक्री करेंगे। इनका इस वर्ष धान खरीदी के लिए पंजीयन हुआ है। धान खरीदी के लिए इस वर्ष का नया पंजीयन 4970 किसानों का हुआ है। गत वर्ष 59, 742 किसानों का पंजीयन हुआ था, वहीं इसमें 57,584 किसानों ने इस वर्ष नवीनीकरण धान खरीदी का कराया है।
शासन को जानकारी दी गई : जिला सहकारी केंद्रीय मर्यादित बैंक के नोडल अधिकारी एमडी सिन्हा ने कहा जिन खरीदी केंद्रों में गोदाम, प्लेटफार्म नहीं बन पाया है। उनकी जानकारी शासन ने मांगी है। इसकी जानकारी शासन को दे दी गई है। निर्माण काम शासन स्तर से ही होना है।
बेवतरी में प्लेटफार्म नहीं होने से भूसे से जमीन पर खुले रखा जाएगा धान।
66 धान खरीदी केंद्रों में गोदाम की व्यवस्था नहीं
जिले भर में 111 धान खरीदी केंद्र बनाए गए हैं। जहां धान खरीदी होनी है, लेेकिन 45 धान खरीदी केंद्र में ही गोदाम बन पाए हैं। फिर अन्य धान खरीदी केंद्रों में गोदाम नहीं बन पाया है। इससे बारिश होने पर धान रखने के लिए दिक्कत होती है। चोरी का खतरा भी बना रहता है। खरीदी केंद्रों में घेराव भी नहीं है। फेंसिंग तार से ही घेराव किया गया है। इससे चोरी का खतरा बना रहता है। धान रखने के लिए कुछ ही केंद्र जोड़कर कही पर भी शेड व चबूतरा नहीं बनाया गया है। इससे सीमेंट की बोरी में भूसा डालकर धान को छलनी कर व्यवस्था करना पड़ता है। इससे दिक्कत होती है। ग्राम सरंगपाल में खरीदी के लिए कोई गोदाम की व्यवस्था ही नहीं है। जगह कई वर्षों से आरक्षित है लेकिन जगह पर खरीदी केंद्र के लिए आफिस व गोदाम नहीं बन पा रहा है। इससे धान खरीदी स्कूल परिसर में ही होती है। ग्राम बेवरती में भी धान खुले में ही रखा जाता है। यहां पर गोदाम काफी छोटा पड़ता है। ग्राम दसपुर में धान चबूतरा में ही रखा जाता है।
बारदाने की जरूरत 12500 गठान की, मिले सिर्फ 5169
1 नवंबर से धान खरीदी शुरू हो रही है, लेकिन अभी तक लक्ष्य के हिसाब से बारदाना नहीं पहुंचा है। इस वर्ष धान खरीदी का लक्ष्य 25 लाख क्विंटल रखा गया है। गत वर्ष 22 लाख क्विंटल धान खरीदी का लक्ष्य रखा गया था। इसमें सूखा के कारण सिर्फ 16 लाख क्विंटल धान की खरीदी हो पाई थी। जितनी धान खरीदी का लक्ष्य रखा गया है, उसके अनुसार खरीदी के लिए 12,500 धान का बारदाना गठान की जरूरत है। इसमें धान का बारदाना 7500 गठान आने का लक्ष्य रखा गया है, लेकिन इस वर्ष अभी तक बारदाना का 3369 गठान ही पहुंचा है। पहले से जिला विपणन संघ कार्यालय के पास 1610 गठान उपलब्ध है। वही पीडीएस से 180 गठान बारदाना पहुंचा है। अभी कुल मिलाकर 5169 गठान ही पहुंचा है। बारदाना पर्याप्त मात्रा में नहीं होने पर बाद में धान खरीदी को लेकर दिक्कत होगी। वही पटौद में धान खरीदी के लिए सरकारी जमीन ही नहीं है, जिससे धान खरीदी एक कृषक के निजी जमीन में ही खुले में हो रही है।